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दाना बाजार में मनापा अतिक्रमण विभाग की कार्रवाई

दाना बाजार में मनापा अतिक्रमण विभाग की कार्रवाई
महिलाओं ने दिया धरना, दस्ते को नहीं मिला था लिखित आदेश
अकोला- शहर के मुख्य बाजार परिसर में स्थित दाना बाजार में अतिक्रमण दस्ता तगड़े पुलिस बंदोबस्त के साथ सुबह ११ बजे पहुंचा। उसके बाद व्यवसायियों में अफरा-तफरी का माहौल निर्माण हो गया था किंतु दस्ते के पास किसी भी प्रकार का तोड़ने संबंधी आदेश नहीं होने से इस कार्रवाई को फिलहाल रोका गया। आपको बता दें कि अकोला शहर में इन दिनों अतिक्रमण की कार्रवाई महानगरपालिका लगातार कर रही है साथ ही  दाना बाजार परिसर में व्यवसायियों ने लगाए हुई दुकानों को खाली करने हेतु महानगर पालिका द्वारा  पहले ही नोटिस देकर जगह खाली करने के निर्देश दिए गए थे किंतु व्यवसायियों द्वारा अपनी दुकानो को खाली नहीं किया गया जिसके चलते  आज सुबह महानगरपालिका अतिक्रमण विभाग का दस्ता अतिक्रमण की कार्रवाई करने हेतु दाना बाजार में पहुंचा वह कुछ अतिक्रमण का हिस्सा हटाने को आरंभ किया गया। बाजार परिसर में पुलिस का तगड़ा बंदोबस्त इस वक्त लगाया गया था। व व्यापारियों ने अपनी दुकानें नहीं खोली थी इस वक्त कई महिलाएं दाना बाजार परिसर में ठिया आंदोलन करती हुई दिखाई दी। हालांकि महापालिका द्वारा कार्रवाई शुरू होते ही कई लोगों ने अपनी दुकानें खाली करने का चित्र  दिखाई दिया। 
आपको बता दें कि दाना बाजार एवं सोनार बाजार दैनिक बाजार पावती में बैठने वाले दुकानदारों द्वारा पक्की दुकानें निर्माण की गई। यह सरकारी जमीन होने के कारण  दुकानें खाली करने का आदेश महानगरपालिका आयुक्त व जिलाधिकारी द्वारा दिया गया था। जिसके चलते अतिक्रमण हटाने हेतु महानगरपालिका अतिक्रमण विभाग ने मार्किंग 4 नवंबर को कर ली थी उसके बाद स्थानीय व्यापारियों और राजनीतिक नेताओं द्वारा दाना बाजार खाली करने में मोहलत मांगी गई थी उसके बाद व्यापारियों को स्वयं से दुकानें खाली करने के लिए कुछ समय दिया गया था जब मुद्दत खत्म हुई तो मनापा का अतिक्रमण दस्ता वापस लौटा और कार्रवाई करना आरंभ किया।
साजिद पठान, डॉ. जीशान हुसैन एवं राजेश मिश्रा की मध्यस्थता के बाद अतिक्रमण कार्रवाई पर रोक
 तब वहां पर कांग्रेस नेता साजिद खान पठान, मनपा के पूर्व विपक्ष नेता डॉक्टर जीशान हुसैन, उद्धव ठाकरे सेना के महानगर अध्यक्ष राजेश मिश्रा अन्य राजनीतिक पदाधिकारी घटनास्थल पर पहुंचे एवं उन्होंने अधिकारियों से इस संबंध में चर्चा की तथा कुछ देर बाद  में उन्होंने अकोला महानगरपालिका पहुंचकर मनपा आयुक्त से चर्चा की और फिलहाल अतिक्रमण को रोकने में उन्हें सफलता मिली अब सवाल यह उठता है कि शहर के दाना बाजार परिसर में अतिक्रमण निकालने की शुरुआत हुई किंतु कार्रवाई करने हेतु  अतिक्रमण विभाग को ना आयुक्त, ना  जिलाधिकारी किसी ने भी लिखित आदेश नहीं दिया था फिर यह कार्रवाई क्यों करने का निर्णय लिया गया हालांकि अतिक्रमण के पास लिखित आदेश नहीं होने के कारण यह कार्रवाई को अभी रोका गया है अब आला अधिकारी इस ओर क्या निर्णय लेते इस और सभी का ध्यान लगा हुआ है।

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